न्यूज़ टुडे टीम एक्सक्लूसिव : जहानाबाद- पटना/ बिहार :
पुल की आस में जवान हो गए गांव के बच्चे लेकिन 18 साल बाद भी नहीं हुआ निर्माण, कुछ ऐसी है बिहार के इस गांव की है कहानी. बिहार में भले ही विकास के लाख दावे किये जाते हैं लेकिन हम आपको आज एक ऐसे पुल के बारे में बता रहे हैं जो पिछले 18 सालों से बन रहा है और अभी तक निर्माणाधीन है. इस पुल के निर्माण की आस में एक पीढ़ी जवान हो गयी, शायद सुनने में यह कुछ अजीब सा लगे परंतु यह हकीकत है. हर चुनाव में मुद्दा बनने के बावजूद इस पुल के न बनने से तकरीबन एक दर्जन गांव के लोगो को प्रखंड मुख्यालय तक जाने के लिए तीन किलोमीटर की दूरी के बदले सात से आठ किलोमीटर से ज़्यादा का सफर तय करना पड़ता है.
जहानाबाद जिला के काको प्रखंड मुख्यालय के कोठिया गांव के निकट कडडुआ नदी पर बन रहा यह पुल कोठिया, ज़हरबीघा, देवरथ गांव सहित तकरीबन एक दर्जन गांव को जोड़ता है. वर्ष 2002-03 से बन रहे इस पुल के सभी पिलर तो बन कर तैयार है परंतु पुल का पूरा निर्माण न होना ग्रामीण क्षेत्र के विकास की अलग कहानी ब्यान कर रहा है. भला हो आस पास के ग्रामीणों का जिन्होंने अपने चंदे से पुल के सभी पायों पर बांस की चचरी रख कर खतरनाक ही सही चलने फिरने के काबिल बना दिया है.
ग्रामीणों ने बताया कि ठेकेदारों और बिचौलिए के आपसी झगड़े में इसके सभी पिलर तो बन गए पर यह पुल पूरा नहीं हो पाया. लोकसभा से लेकर पंचायत स्तर तक के चुनाव में चुनावी मुद्दा बनने वाले इस पुल के निर्माण को लेकर सभी नेता आश्वासन तो देते हैं, परंतु चुनाव के बाद नेताओ का आश्वासन कोरा ही साबित होता है.
ग्रामीणों ने बताया कि बरसात के दिनों में यह पूरा इलाका टापू में तब्दील हो जाता है और लोग ना चाहते हुए भी गांव में कैद हो जाते है, ऐसे में नदी के दूसरी ओर स्कूल रहने की वजह से बच्चे की पढ़ाई भी बाधित हो जाती है.