न्यूज़ टुडे एक्सक्लूसिव : राजस्व व भूमि सुधार विभाग में तबादलों में हुआ ‘खेल’, बिहार में फ्लॉप अफसरों की टॉप पोस्टिंग, खराब स्कोर वालों को दे दिया अच्छा अंचल
डा. राजेश अस्थाना, एडिटर इन चीफ, न्यूज़ टुडे मीडिया समूह :
बिहार सरकार के राजस्व व भूमि सुधार विभाग में बीते 2 दिनों में 250 ट्रांसफर-पोस्टिंग की गई है। इस पूरी प्रक्रिया को ऊपर से देखने पर तो सब कुछ पाक-साफ लगता है, लेकिन इसे गहराई से देखें तो इसमें झोल ही झोल दिखते हैं। इस झोलझाल की पुष्टि खुद विभाग की वह रैकिंग लिस्ट करती है, जिसमें काम के आधार पर अफसरों को मार्किंग दी गई थी, इसमें उन लोगों को अच्छी पोस्टिंग दी गई है, जिनकी मार्किंग लो है। गुरुवार को खुद BJP के MLA ज्ञानेंद्र सिंह ज्ञानू ने पेड पोस्टिंग के आरोप लगाए थे। इसलिए ऐसा माना जा रहा है कि इसमें खेल हुआ होगा।
फ्लॉप परफॉर्मर को मिली है टॉप पोस्टिंग
राजस्व व भूमि सुधार विभाग ने 2020-21 के अंचलाधिकारियों की परफॉर्मेंस रिपोर्ट तैयार की थी। काम के आधार पर तैयार की गई इस लिस्ट में सभी 534 अंचलों के अंचलाधिकारियों और प्रभारी अंचलाधिकारियों को रैंकिंग दी गई थी। इस रिपोर्ट में म्यूटेशन, परिमार्जन, ऑनलाइन एलपीसी जैसे 7 सेक्शन में कामकाज का आकलन किया गया था। सभी सेक्शन में फाइल डिस्पोजल के प्रतिशत को निकालकर ओवरऑल नंबर दिए गए थे। इसी नंबर के आधार पर रैंकिंग भी दी गई थी।
इस रिपोर्ट में सबसे ऊपर नाम है पंडौल के प्रभारी अंचलाधिकारी पंकज कुमार का। पंकज कुमार को इस लिस्ट में 99.2 फीसदी अंक मिले हैं। पंकज का गृह जिला पटना है, लेकिन नई पोस्टिंग के मुताबिक अब उन्हें मुजफ्फपुर के सबसे अच्छे अंचल कुढ़नी का प्रभारी अंचलाधिकारी बनाया गया है।
परफॉर्मेंस रिपोर्ट में औरंगाबाद, बारुण के प्रभारी अंचलाधिकारी को 114 वां स्थान मिला है। इनका नाम है वसंत कुमार राय। वसंत को 88 .97 फीसदी अंक मिले थे, लेकिन इनकी पोस्टिंग हुई पटना के बड़े फुलवारीशरीफ अंचल में।
इससे भी ज्यादा चौंकाती है गया जिले के कोंच अंचल की प्रभारी अंचलाधिकारी रानी कुमारी की पोस्टिंग। रैंकिंग लिस्ट में 518 रैंक और महज 61.01 फीसदी अंक पानेवाली रानी को नई पोस्टिंग मिली है चकबंदी प्रशिक्षण संस्थान पटना में सहायक चकबंदी पदाधिकारी के तौर पर।
इसी तरह परफॉर्मेंस लिस्ट में 457 रैंकिंग वाले सुबोध कुमार को भी चकबंदी प्रशिक्षण संस्थान पटना में सहायक चकबंदी पदाधिकारी के तौर पर नई पोस्टिंग मिली है।
रैंकिग में 302 वें स्थान पर और 80.19 फीसदी अंक पानेवाले संतोष कुमार सिंह को लालगंज, वैशाली से स्थानांतरित कर पटना से सटे पालीगंज का अंचल प्रभारी बनाया गया है।
रैंकिग में 401वें नंबर पर और 75.10 प्रतिशत अंक पाने वाले नंद किशोर प्रसाद निराला को प्रभारी अंचलाधिकारी भगवानपुर वैशाली से ट्रांसफर कर पटना से सटे संपतचक का प्रभारी अंचलाधिकारी बना दिया गया है।
तबादले की पहली सूची में सदर अंचल के दो सीओ शामिल हैं। संतोष कुमार सुमन को पूर्वी चंपारण जिला के तुरकौलिया से हटाकर मोतिहारी सदर का सीओ बनाया गया है। कामकाज के मूल्यांकन आधार पर बनी कुल 534 सीओ के नामवाली सूची में सुमन का नाम 121 वें नम्बर पर है।
ठीक उसी प्रकार चंपारण के कोटवा के सीओ इंद्रासन साहू का तबादला दरभंगा सदर अंचल में किया गया है। उनका रैंक 72 वां है। सदर में तैनात किए गए ये दोनों टॉप 25 की सूची से बहुत दूर हैं।
वहीं अंचल में जमीन की लगातार कीमतें बढऩे के कारण दानापुर के सीओ का पद महत्वपूर्ण माना जाता है। यह किसी सदर मुकाम से कम नहीं है। यहां मुकुल कुमार झा को तैनात किया गया है। इनका तबादला पटना जिला के संपतचक अंचल से किया गया है। इस अंचल में वित्तीय वर्ष 2020-21 में इनके किए गए कार्यों का मूल्यांकन किया गया। ये 230 वें नम्बर पर आए।
बीते 48 घंटों में 211 अंचलाधिकारियों का किया गया है तबादला
बीते 48 घंटे में राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने 211 अंचल प्रभारियों का तबादला किया है। कई चरणों में किए इन तबादलों में जबदस्त फेरबदल हुआ है, लेकिन इस फेरबदल में परफॉर्मेंस को ताक पर रखकर गई पोस्टिंग से पदाधिकारियों में गुस्सा है। विभागीय अनुशासन और कार्रवाई के डर से पदाधिकारी नाम जाहिर नहीं करने की शर्त पर तबादलों में मनमानी का आरोप लगा रहे हैं।
पदाधिकारियों में इस बात की भी नाराजगी है कि विभाग ने खुद जो रैंकिंग की, उसे खुद ही पोस्टिंग में नकार दिया। परफॉरमेंस को परे रखकर की गई इस ट्रांसफर-पोस्टिंग पर दैनिक भास्कर ने मंत्री जी से भी उनका पक्ष लेने की कोशिश की, लेकिन हमें अब तक उनका कोई जवाब नहीं मिला।
कल भाजपा विधायक ने मंत्रियों पर पैसे लेने का लगाया था आरोप
राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के मंत्री रामसूरत राय भाजपा से आते हैं। गुरुवार को भाजपा के ही एक विधायक ज्ञानेन्द्र सिंह ज्ञानू ने बिहार सरकार के मंत्रियों पर पैसे लेकर अफसरों को मनचाही पोस्टिंग देने के आरोप लगाए थे। ज्ञानू ने अपने बयान में खास तौर पर भाजपा से आनेवाले मंत्रियों पर पैसे लेने का आरोप लगाया था। गुरुवार को ही मंत्री मदन सहनी ने भी तबादलों में अपना निर्णय शामिल किए जाने को लेकर जमकर गुस्सा निकाला था।
मंत्री ने इस्तीफे तक की पेशकश कर दी थी। मदन सहनी का कहना था उनके विभाग के अपर मुख्य सचिव तबादलों से जुड़ी फाईल को जारी नहीं कर रहे हैं, जबकि उन्होंने 3 दिन पहले ही लिस्ट जारी करने का निर्देश दे दिया था। मंत्री के गुस्से और विधायक के आरोप को ध्यान में रखकर राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग का तबादला कांड की पूरी कहानी बयां कर रहा है।