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ई. युवराज, मुख्य कार्यकारी अधिकारी, न्यूज़ टुडे मीडिया समूह :
★पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव का गुरुवार को निधन हो गया। उनके निधन की जानकारी उनकी बेटी ने दी। उनकी बेटी सुभासिनी शरद यादव ने फेसबुक पोस्ट के जरिए की पुष्टि। उन्होंने 75 वर्ष की उम्र में अंतिम सांस ली।★
जनता दल यूनाइटेड के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव का गुरुवार रात गुरुग्राम के फोर्टिस अस्पताल में निधन हो गया। वह 75 वर्ष के थे और काफी समय से गुर्दे की बीमारी से पीडि़त थे। गुरुवार रात सांस लेने में तकलीफ होने पर उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था। कुछ घंटे बाद उनका निधन हो गया। इस दिग्गज नेता के निधन की जानकारी उनकी बेटी सुभाषिनी यादव ने फेसबुक पेज पर दी। उन्होंने लिखा-पापा नहीं रहे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव समेत तमाम नेताओं ने उनके निधन पर शोक जताया है।
पीएम मोदी ने जताया दुख
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शरद यादव के निधन पर दुख जताया। पीएम मोदी ने ट्वीट किया, ‘शरद यादव जी के निधन से बहुत दुख हुआ। अपने लंबे सार्वजनिक जीवन में उन्होंने खुद को सांसद और मंत्री के रूप में प्रतिष्ठित किया। वे डॉ. लोहिया के आदर्शों से काफी प्रभावित थे। मैं हमेशा हमारी बातचीत को संजो कर रखूंगा। उनके परिवार और प्रशंसकों के प्रति संवेदनाएं। ओम शांति।’
रक्षा मंत्री बोले- प्रभावी आवाज खामोश हो गई
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने शरद यादव के निधन पर शोक जताया। उन्होंने कहा, ‘पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं देश के बड़े वरिष्ठ नेता शरद यादव जी के निधन से मुझे गहरी वेदना की अनुभूति हुई है। अपने लंबे राजनीतिक जीवन में उन्होंने हमेशा समाज के कमज़ोर वर्गों की समस्याओं को पुरज़ोर तरीक़े से उठाया। आपातकाल के दौरान लोकतंत्र की रक्षा के लिए भी उन्होंने काफ़ी संघर्ष किया। उनके निधन से भारतीय राजनीति की एक प्रभावी आवाज खामोश हो गई है।’
उन्होंने कहा, ‘शरद जी के साथ मेरा बड़ा लंबा और बेहद आत्मीय संबंध रहा है। स्वभाव से बेहद सरल और बेबाक़ शरदजी का निधन एक बड़ी क्षति है। दुःख की इस घड़ी में मैं उनके शोकाकुल परिवार और समर्थकों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करता हूँ। ओम् शांति।’
बड़े भाई के निधन की खबर से दुखी हूं- लालू यादव
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव ने शुक्रवार को सिंगापुर से एक वीडियो संदेश में पूर्व केंद्रीय मंत्री और समाजवादी नेता शरद यादव के निधन पर शोक व्यक्त किया। ट्विटर पर एक वीडियो संदेश पोस्ट करते हुए लालू यादव ने सिंगापुर में अपने अस्पताल के बिस्तर से कहा, “बड़े भाई शरद यादव की मौत की खबर सुनकर मुझे दुख हुआ।” लालू यादव ने आगे कहा कि कई मौकों पर शरद यादव और मैं आपस में लड़े। लेकिन हमारी असहमति के कारण कभी कड़वाहट नहीं आई।
तेजस्वी यादव ने जताया शोक
बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने शरद यादव के निधन पर शोक जताया। उन्होंने कहा, ‘मंडल मसीहा, राजद के वरिष्ठ नेता, महान समाजवादी नेता मेरे अभिभावक आदरणीय शरद यादव जी के असामयिक निधन की खबर से मर्माहत हूं। कुछ कह पाने में असमर्थ हूं।’ उन्होंने कहा कि माता जी और भाई शांतनु से बात हुई। दुःख की इस घड़ी में संपूर्ण समाजवादी परिवार परिजनों के साथ है।
राहुल गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष ने जताया दुख
शरद यादव के निधन की सूचना पाकर कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने दुख जताया। मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि देश की समाजवादी धारा के वरिष्ठ नेता, जेडीयू के पूर्व अध्यक्ष शरद यादव जी के निधन से दुःखी हूं। उन्होंने कहा कि एक पूर्व केंद्रीय मंत्री व दशकों तक एक उत्कृष्ट सांसद के तौर पर देश सेवा का कार्य कर, उन्होंने समानता की राजनीति को मज़बूत किया। वहीं, कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी शोक व्यक्त किया और कहा कि शरद यादव जी समाजवाद के नेता होने के साथ-साथ विनम्र स्वभाव के व्यक्ति थे।
मध्य प्रदेश में हुआ था शरद यादव का जन्म
बता दें के राजनीतिक के दिग्गज खिलाड़ी रहे शरद यादव का जन्म एक जुलाई 1947 को मध्य प्रदेश के होशंगाबाद जिले के गांव अखमाऊ में हुआ था। उन्होंने मध्य प्रदेश के अलावा बिहार और उत्तर प्रदेश से चुनावी राजनीति की। उनकी राजनीति का मुख्य केंद्र बिहार रहा। वह बिहार के मधेपुरा लोकसभा क्षेत्र से चार बार, मध्य प्रदेश के जबलपुर से दो बार और उत्तर प्रदेश के बदायूं से एक बार लोकसभा के लिए चुने गए थे। शरद यादव राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के संयोजक रहे।
मध्य प्रदेश से पूरी की थी शुरुआती पढ़ाई
बता दें कि शरद यादव का जन्म एक जुलाई, 1947 को मध्य प्रदेश के होशंगाबाद में हुआ था। उन्होंने शुरुआती पढ़ाई मध्य प्रदेश से ही पूरी की थी। उन्होंने जबलपुर के इंजीनियरिंग कॉलेज से बीई की पढ़ाई की थी।
सात बार चुने गए सांसद
शरद यादव जनता दल (यूनाइटेड) के राष्ट्रीय अध्यक्ष भी रह चुके हैं। उन्होंने बिहार प्रदेश के मधेपुरा लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र से चार बार लोकसभा, मध्य प्रदेश के जबलपुर से दो बार और उत्तर प्रदेश के बदायूं से एक बार लोकसभा का प्रतिनिधित्व किया। वह कुल मिलाकर तीन राज्यों से लोकसभा निर्वाचित हुए हैं, जिसमें बिहार, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश शमिल है। जेपी आंदोलन दौरान यादव साल 1974 में पहली बार मध्य प्रदेश की जबलपुर लोकसभा सीट से चुनाव जीता। साल 1977 में भी उन्होंने इसी सीट से एक बार फिर चुनाव में जीत दर्ज कर संसद में पहुंचे।
दो बार चुने गए राज्यसभा सांसद
शरद यादव को साल 1986 और 2004 में दो बार राज्यसभा का सांसद चुना गया। यादव फूड प्रोसेसिंग मंत्रालय में केंद्रीय मंत्री, नागरिक उड्डयन मंत्रालय का कार्यभार संभाला। वह कई कमेटियों के सदस्य भी रह चुके हैं। मधेपुरा सीट से साल 2014 के लोकसभा चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा।