न्यूज़ टुडे टीम ब्रेकिंग अपडेट : मोतिहारी/ बिहार :
जदयू नेताओं ने चुनाव में कम सीट मिलने के लिए लोजपा-बीजेपी को जिम्मेदार ठहराया तो नीतीश ने कहा मुझे इसका एहसास था। कहा हम भाजपा के दबाव में सीएम बने। आरसीपी ने जदयू को नंबर वन पार्टी बताया तो वशिष्ठ ने कहा हम धोखा खा सकते दे नहीं सकते
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जदयू राज्य कार्यकारिणी की बैठक में पार्टी के लोगों के उबाल पर कहा कहा कि हमें भी इस बात का एहसास विधान सभा चुनाव के दौरान जरूर हुआ था कि कुछ गड़बड़ है। कुछ गलत हो रहा है। मैंने पार्टी के कुछ लोगों के साथ इसकी चर्चा भी की थी। फिर कहा कि अब चुनाव परिणाम को भूलकर काम में जुट जाएं। सरकार पूरे पांच साल चलेगी। बता दें कि जदयू के नेता और कार्यकर्ता बैठक में लगातार बीजेपी और लोजपा (BJP- LJP) के धोखे के कारण चुनाव में कई सीटें हारने की बात कह रहे थे।
फिर दोहराया कि भाजपा के कहने पर बने सीएम
मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में पुन: यह दोहराया कि वह तो भाजपा के कहने पर मुख्यमंत्री बने। हमारी कोई इच्छा नहीं थी। हमलोग तो गांधी, जेपी, लोहिया, अंबेडकर व कर्पूरी ठाकुर को मानने वाले लोग हैं। राजनीति सेवा के लिए है, स्वार्थ के लिए नहीं। जो कुछ पाने की लालसा के साथ इस पार्टी में हैं उनके लिए यहां कोई जगह नहीं। जो नि:स्वार्थ भाव से इस पार्टी में हैं और दिन-रात मेहनत कर रहे , उन्हें जरूर आगे बढ़ाया जाएगा।
सीटें बेशक कम आईं पर जीत नीतीश कुमार के साख की : आरसीपी
जदयू राज्य कार्यकारिणी व राज्य परिषद की बैठक में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष आरसीपी सिंह ने कहा कि बेशक विधानसभा चुनाव में परिणाम संतोषजनक नहीं रहे, पर सच यह भी है कि चुनाव में नीतीश कुमार की साख और विश्वसनीयता की जीत हुई है। कोविड-19 (Covid-19 ) के कारण लोगों के बीच पहले की तरह पहुंचना संभव नहीं हो पाया। इस वजह से कुछ लोग हमारे मतदाताओं को गुमराह करने में सफल रहे। हमें कभी नहीं सोचना है कि हम सत्ताधारी हैं, इसलिए हमारा क्लास अलग है। हमें कोई दंभ नहीं पालना है। जदयू पहले भी नंबर वन पार्टी थी, आज भी है और आगे भी रहेगी।
हमलोग धोखा तो खा सकते पर दे नहीं सकते
जदयू प्रदेश अध्यक्ष बशिष्ठ नारायण सिंह (Vashishthh Narayan singh) ने कहा कि हमलोग धोखा तो खा सकते हैं, लेकिन दे नहीं सकते। हमलोगों में फिर से खड़ा होने की ताकत बची हुई है। अगर कोई कमी है तो उसे दूर करने में हमें पूरे संकल्प के साथ जुट जाना है।